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सोमवार, 7 अगस्त 2023

ऐतिहासिक श्री राम कथा अमृत महोत्सव का हुआ भव्य समापन, श्रीराम के जयकारों से गूंजा पंडाल

लखीमपुर : हरनाम वाटिका के कथा स्थल में, अंतिम दिन रावण वध और रामराज्य के प्रसंग सुनाते हुए कथा व्यास रमेश भाई शुक्ल ने बताया कि रावण अहंकार का प्रतीक है और अहंकार प्रभु का भोजन है। भगवान ने किसी का अहंकार नहीं रखा। इसी कारण रावण का करना पड़ा। पृथ्वी को राक्षसों से बचाने के जिस उद्देश्य से प्रभु श्रीराम ने अवतार लिया था , वह उद्देश्य पूरा करते हुए उन्होंने रावण का वध किया।

श्री राम कथा अमृत महोत्सव की कोर टीम के सदस्य और प्रवक्ता युवराज शेखर ने बताया की अखिल भारतीय श्री राम नाम जागरण मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष पंडित निर्मल शास्त्री के द्वारा 11 दिवसीय कथा के आयोजन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले संरक्षक मंडल का सम्मान किया और साथ ही कोर कमेटी के सभी सदस्यों और श्री राम कथा परिवार मित्र मंडली के सभी सदस्यों और सेवावृती प्रदान करने वाले सभी साथियों का भी प्रतीक चिन्ह और पटुका पहनाकर सम्मान किया गया।

इस मौके पर श्री राम कथा के आयोजक और अखिल भारतीय श्री राम नाम जागरण मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष पंडित निर्मल शास्त्री ने बताया लखीमपुर जनपद की धारा इतनी ऐतिहासिक राम कथा का आयोजन करने पर धन्य हो गई, और जो अपार सहयोग लखीमपुर के भक्तों के द्वारा इस रामकथा में किया गया वह अपने में ही 1 मील का पत्थर साबित हो गया।
श्रीराम कथा के अंतिम दिन हरनाम वाटिका में पूरा पंडाल प्रभु श्रीराम के जयकारों से गूंजता रहा। रामराज्य का वर्णन करते हुए कथा व्यास श्री रमेश भाई शुक्ल ने बताया कि प्रभु श्रीराम के राज्य में प्रजा हर प्रकार से सुखी थी। कोई दरिद्र या दुखी नहीं था। न ही कोई अच्छे लक्षणों से विहीन था। उन्होंने बताया कि यदि वर्तमान युग में हम रामराज्य चाहते हैं। तो अपने बैर को भुलाकर सभी से प्रेम करें, क्योंकि जब सभी मानवों में आपस में प्रेम होगा तभी रामराज्य आएगा। 

इस दौरान कथा स्थल पर जिलाधिकारी महेंद्र बहादुर सिंह , पुलिस अधीक्षक गणेश साहा, सदर विधायक योगेश वर्मा, श्री राम कथा अमृत महोत्सव के संरक्षक ज्ञान स्वरूप शुक्ल, गोपाल अग्रवाल, नगर पालिका अध्यक्ष एवं श्री राम कथा अमृत महोत्सव की संरक्षक डॉक्टर इरा श्रीवास्तव , विक्की अजमानी सेमत कोर टीम के सभी सदस्य जिनमें इंद्रेश गुप्ता, राजू अग्रवाल ,युवराज शेखर, शुभम गुप्ता ,डॉक्टर डी एन मालपानी, विनोद कुमार चोपड़ा, मंटूश पोद्दार, जुगल पोद्दार, भगवती अग्रवाल, बॉबी गुप्ता, नंदकिशोर अग्रवाल ,विपुल सेठ, डॉ अजय पांडे,  रमेश गुप्ता , योगेश जोशी, ज्ञानेश शर्मा,  दिनेश अवस्थी, अतुल जयसवाल ,राम मोहन गुप्ता, इंजीनियर पवन शुक्ला, प्रमोद अग्रवाल, गोपी गुप्ता, देवेश गुप्ता,  राम पांडेय, आचार्य संजय मिश्र, अजय भल्ला, राम मोहन गुप्ता 'अमर' समेत हजारों की संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे।  साथ ही महिला टीम से श्वेता- रितेश अग्रवाल, रति शेखर ,रूपाली शेखर ,अनीता शेखर संगीता शेखर,  रितु अग्रवाल, अंजीता गर्ग, ऋचा अग्रवाल, शालू मलिक,  रीना शर्मा ,आरती अग्रवाल, संगीता अग्रवाल, रश्मि महिंद्रा ,कविता शेखर ,गरिमा पोद्दार ,चंचल अग्रवाल ,गुंजन अग्रवाल ,मधु अग्रवाल, लता अग्रवाल, निधि अग्रवाल, नीरज मिश्रा, रचना अग्रवाल रीता अग्रवाल, अनामिका सेठ, आरती अग्रवाल, दिव्या शर्मा, श्वेता अग्रवाल उमा पोद्दार, आदि शामिल रहे। कथा समापन पर श्री रघुनाथ के उत्सव और प्रभु श्रीराम की भव्य आरती उतारी गई।

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