लखीमपुर-खीरी, 7 मई 2025। वक़्त भले ही बालों में चांदी बिखेर दे, मगर जज़्बा अगर संगठन का हो तो हर उम्र में ऊर्जा की नयी लहर दौड़ जाती है।
ऐसा ही दृश्य था जब उत्तर प्रदेश पेंशनर्स कल्याण संस्था की जनपद शाखा लखीमपुर-खीरी की मासिक बैठक जिला कोषागार भवन में संपन्न हुई।
यह सिर्फ़ एक बैठक नहीं, बल्कि एक आत्मीय संगम था, अनुभवों का, सरोकारों का और संघर्षों की साझा स्मृतियों का। बैठक की अध्यक्षता संस्था के सर्जनात्मक मार्गदर्शक डॉ. ओ.पी. श्रीवास्तव ने की, और संचालन की ज़िम्मेदारी निभाई समर्पित महामंत्री नरेश चन्द्र वर्मा ने।
शुभारंभ में संस्था के संरक्षक अशोक श्रीवास्तव द्वारा माँ सरस्वती की वंदना की गई, जैसे शब्दों को संस्कार मिले और विचारों को आलोक। इसके उपरांत महामंत्री श्री वर्मा ने गत बैठक की कार्यवाही की पुष्टि करते हुए संगठन की गतिविधियों को जीवन्तता प्रदान की। उन्होंने कहा हम केवल भूतकाल की छाया नहीं, भविष्य की रचना हैं।
उन्होंने सदस्यों से आह्वान किया कि जो भी समस्या हो, वह संस्था के पास लिखित में आए, ताकि उसे ससम्मान और संजीदगी से हल किया जा सके। बैठक का सबसे संवेदनशील और आत्मीय क्षण तब आया, जब उन सदस्यों का जन्मदिवस मनाया गया, जिनकी उम्र भले ही आगे बढ़ी हो, लेकिन उत्साह आज भी किशोरों जैसा है।
रघुनंदन झा, राम टहल वर्मा, बालकृष्ण, सन्त कुमार वर्मा, सन्त कुमार व रामबहादुर मित्रा जैसे वरिष्ठजनों ने विचार साझा किए हर शब्द जैसे अनुभव की स्याही से लिखा गया हो। कोषाध्यक्ष महताब अली ने संस्था की आय-व्यय का समर्पित विवरण प्रस्तुत किया, जिसमें ईमानदारी की झलक और जवाबदेही की भावना स्पष्ट दिखी।
अंत में डॉ. श्रीवास्तव का प्रेरणादायक वक्तव्य संस्था की ऊर्जा में नवप्रवेश कर गया। उन्होंने कहा हम वह दीपक हैं जो बुझते नहीं, बल्कि समय की आंधियों से और प्रज्वलित हो उठते हैं। बैठक का समापन केवल जलपान से नहीं, बल्कि आत्मीयता की मिठास से हुआ। कुलमिलाकर यह आयोजन बुज़ुर्गों के मन की बगिया में विश्वास के फूल खिला गया। यह सभा बता गई जब अनुभवी कंधे एक साथ उठते हैं, तो समाज की रीढ़ और मज़बूत हो जाती है।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
Post Comments