Breaking

मंगलवार, 4 फ़रवरी 2025

वसंत पंचमी पर तीसरा और अंतिम अमृत स्नान


ऋतुओं का राजा कहे जाने वाला मौसम बसंत पंचमी  खुशियां लेकर आता है. सर्दियां सुहावनी होने लगती हैं, खेतों में पीली सरसों लहलहा उठती हैं. पेड़-पौधों में फिर से नई कलियां खिल उठती हैं और हर तरफ सकारात्मक माहौल हो उठता है. इसके साथ ही हर तरफ मां सरस्वती की पूजा होगी  वसंत पंचमी पर तीसरा और अंतिम शाही स्नान की शुरुआत हो चुकी है। संगम किनारे जमे श्रद्धालुओं ने  रात से ही स्नान शुरू कर दिया था। आज 3 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं के डुबकी लगाने की संभावना है। श्रद्धालुओं की सुविधा को देखते हुए 25 बंद पांटुल पुल को खोल दिया गया। इसके द्वारा झूसी से सीधा परेड मैदान तक आया जा सकता है। शाही स्नान करने के लिए किन्नर अखाड़ा भी संगम पहुंच रहा है। वसंत पंचमी पर श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी और श्री पंचायती अटल अखाड़ा अन्तिम शाही स्नान के लिए संगम के लिए अपने शिविर से निकल चुके हैं।संगम में वसंत पंचमी पर तीसरा स्नान शुरू हो चुका है। सारी सड़के आस्था पथ में तब्दील हो गईं है। हर तरफ से संगम पर श्रद्धाभाव से भरा जन प्रवाह उमड़ पड़ा। लाखों श्रद्धालु  को ही प्रयागराज में पहुंच चुके थे और शाम तक 3 से 4 करोड़ लाख से अधिक  श्रद्धालुओं ने संगम में डुबकी लगा ली थी। 
इस बार कुंभ के सभी इंट्री प्वाइंट एनएसजी व एटीएस कमांडो की सुरक्षा के घेरे में रहेंगे। भक्ति के सागर की हिलोरें दोपहर बाद तेज हो गईं। न लंबी दूरी तय करने की चिंता न तो चेहरों पर थकान के भाव। कोई माता-पिता को डुबकी लगाने के लिए मीलों पैदल चलकर आया तो कोई दादा-दादी को।  शाम से ही मेला क्षेत्र में भारी वाहनों के प्रवेश पर रोक लगा दी गई। मौनी अमावस्या पर उमड़े जन सैलाब से सबक लेते हुए कई जगह सड़कों की चौड़ाई बढ़ाई गई। रेलवे स्टेशनों, बस अड्डों की ओर से रेला भोर से ही उमड़ने लगा।हिंदू हॉस्टल व सीएमपी के पास बैरीकेडिंग कर वाहनों के रोके जाने की वजह से आठ से 10 किमी तक पैदल चलकर श्रद्धालु संगम पहुंच रहे हैं। फिर भी बिना थके सिर पर गठरी लिए आस्थावान आगे बढ़ते रहे। अखाड़ा मार्ग, संगम, अपर व संगम लोअर मार्ग पर विशेष निगरानी रखी जा रही है।

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

Post Comments