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रविवार, 12 मार्च 2023

खीरी में शुरू हुआ विश्व ग्लूकोमा सप्ताह, जिले के सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर लगेंगे कैंप

काला मोतिया भी बन सकता है अंधेपन की वजह- डॉ. अनिल गुप्ता

राष्ट्रीय दृष्टिविहीनता एवं दृष्टि दोष नियंत्रण कार्यक्रम के तहत 12 से 18 मार्च तक विश्व ग्लूकोमा (काला मोतिया ) सप्ताह मनाया जाएगा। जिसमें आंखों की जांच के लिए जिले के सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर कैंप का आयोजन किया जाएगा। इसमें काला मोतिया के बारे में जानकारी दी जाएगी तथा जरुरत पड़ने पर चिन्हित मरीजों को ऑपरेशन के लिए भेजा जाएगा।

राष्ट्रीय दृष्टिविहीनता एवं दृष्टि दोष नियंत्रण कार्यक्रम के नोडल अधिकारी एसीएमओ डॉ अनिल कुमार गुप्ता ने बताया कि विश्व ग्लूकोमा (काला मोतिया ) सप्ताह प्रत्येक वर्ष पूरे विश्व में मनाया जाता है। इसी क्रम में यह भारत में और उत्तर प्रदेश में भी शासन के दिशा- निदेशों के क्रम में मनाया जा रहा है। 13 वां विश्व ग्लूकोमा (काला मोतिया ) सप्ताह 12 से 18 मार्च तक मनाया जा रहा है। जिसमें आंखों की जांच की जाएगी और काला मोतिया के बारे में जागरुक किया जाएगा। इस वर्ष आओ अदृश्य ग्लूकोमा को हराएं की थीम पर यह सप्ताह मनाया जा रहा है।


जिले में 12 मार्च से 18 मार्च तक चलेगा कार्यक्रम

अपर मुख्य चिकित्साधिकारी व कार्यक्रम की नोडल अधिकारी डॉ. अनिल कुमार गुप्ता ने बताया कि इस सप्ताह का मुख्य उद्देश्य ऑप्टिक तंत्रिका परीक्षण सहित नियमित आंखों की जांच के लिए लोगों को प्रोत्साहित करके ग्लूकोमा द्वारा होने वाले अंधेपन को समाप्त करना है। जिला अस्पताल में आई सर्जन डॉ. पूनम ने बताया कि आँखें हमारे शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग होने के साथ-साथ काफी नाजुक होती हैं। आँखों को स्वस्थ रखने के लिए उनकी ठीक तरह से देखभाल करना अति आवश्यक है, लेकिन आजकल की भाग दौड़ भरी जिन्दगी में हम आँखों का ख्याल रखना भूल जाते हैं। बढ़ता प्रदुषण और अनियमित खान-पान भी हमारी आँखों को काफी नुक्सान पहुंचाता है। यही वजह है कि इस सप्ताह के अंतर्गत लोगों को इन सभी बिंदुओं से अवगत कराया जा रहा है।

काली मोतिया के लक्षण :

-आखों और सिर में तेज दर्द होना -नजर कमजोर होना या धुंधला दिखाई देना -आंखें लाल होना

रोशनी के चारों ओर रंगीन छल्ले दिखाई

-जी मिचलाना

-उल्टी होना आदि

काली मोतिया होने के कारण

-उम्र बढ़ना । यह समस्या सामान्यता 40 साल से अधिक के लोगों को होती है, 60 के बाद इसका खतरा काफी बढ़ जाता है।
 - काला मोतिया का पारिवारिक इतिहास कई चिकित्सीय स्थितियां जैसे हाइपरथायरॉइडिज्म, मधुमेह, हृदय रोग, उच्च रक्तचाप, सिकल सेल एनीमिया, माइग्रेन, निकट दृष्टिदोष  है की आजकल 35-40 वर्ष की उम्र तक आते आते लोग आँखों की गंभीर बीमारियों का शिकार हो जाते हैं, काला मोतिया यानी ग्लूकोमा भी उन्हीं में से एक है।

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