ओडिशा पुलिस ने सोमवार को एक शातिर अपराधी को गिरफ्तार किया है। उसने अपनी पत्नी और साले पर जानलेवा हमला किया, फिर वहां से भाग निकला। उसके बाद महिलाओं की तरह सूट-सलवार, माथे पर बिंदी और घूंघट ओढ़े एक बस में चढ़ गया। ताकि कोई भी उसे पहचान न पाए। बस अपने गंतव्य की ओर रवाना होती रही। उसमें और भी कई पैसेंजर बैठे थे। तभी एक महिला यात्री की नजर इस शख्स पर पड़ी। उसे दुपट्टे से शख्स की दाढ़ी दिखाई दी, यह देखते ही महिला यात्री ने चीख-पुकार मचा दी।महिलाओं की तरह ड्रेसअप किए बैठा वो शख्स भी घबरा गया। वो बस से निकलने की कोशिश करने लगा। लेकिन अन्य यात्रियों ने उसे पकड़ लिया। पूछा कि तुम ऐसे बनकर कहां जा रहे हो। वो कोई ढंग का जवाब न दे पाया तो यात्रियों ने उसे पुलिस के हवाले कर दिया। तब पता चला कि वो तो अपनी पत्नी और साले पर हमला करके भागने की फिराक में था। पुलिस ने बताया कि इस अपराधी के ऊपर पहले भी 3 हत्याओं का मामला दर्ज हो चुका है। लेकिन उस समय गवाहों के मुकर जाने के कारण इसे कोर्ट ने बरी कर दिया था।घटना केनरापाड़ा थाना क्षेत्र की है। 42 साल का विक्रम दास मधुसूनपुर गांव में रहता है। यहां उसने अपनी पत्नी और साले पर जानलेवा हमला कर दिया। फिर नीला सूट, गुलाबी सलवार, माथे पर बिंदी और घूंघट निकाले एक बस में जा बैठा। तभी उसके साथ बैठी महिला पैसेंजर की नजर दुपट्टे की ओट से दिख रही उस शख्स की दाढ़ी पर गई। महिला ने चीखना-चिल्लाना शुरू कर दिया. विक्रम भी उसे धक्का देकर भागने लगा। लेकिन अन्य यात्रियों ने उसे पकड़ लिया। जब वो उनके इस सवाल का जवाब न दे पाया कि उसने महिलाओं का भेष क्यों धारण किया है तो यात्रियों ने उसे पुलिस के हवाले कर दिया।
पुलिस के सामने आरोपी ने वारदात कबूल कर ली। अभी उससे पूछताछ की जा रही है। अभी यह स्पष्ट नहीं हुआ है कि आखिर उसने पत्नी और साले पर हमला क्यों किया। पुलिस ने बताया कि दास को इससे पहले नवंबर 2018 में एक परिवार के तीन सदस्यों की हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। लेकिन सभी 29 गवाहों के मुकर जाने के बाद सबूतों के अभाव में दो महीने पहले अदालत ने उसे बरी कर दिया था।
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