प्रयागराज। मुख्यमंत्री के हाथों से हुए पुल के लोकार्पण में दरार आने के बाद प्रशासन में हड़कंप मच गया। मुख्यमंत्री के कान तक खबर पहुंचते ही रातोंरात आनन-फानन में मरम्मत करा दी गयी। हालांकि इसकी जांच एमएनआईटी की टीम कर रही है। यह मामला शहर से करीब बीस किलोमीटर दूर नारीबारी में टोंस नदी पर बनाया गया था। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 63 करोड़ रुपये की लागत से बने इस पुल का लोकार्पण किया था।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के हाथों नारीबारी के पास बने टोंस नदी के पुल का लोकार्पण हुए एक दिन भी नहीं बीता था और पुल में बड़ी दरार आ गई। लगभग 63 करोड़ रुपये की लागत से एक माह पहले बने पुल पर आवागमन पूरी तरह से बंद कर दिया गया था। मुख्यमंत्री ने सोमवार दोपहर में ही इसका लोकार्पण किया था और 10 घंटे बाद रात में पुल पर दरार होने की जानकारी सोशल मीडिया पर वायरल होने लगी थी।
जिसके बाद सूचना मुख्यमंत्री के कानों तक पहुंची और उनके आदेश के पहले ही जिलाधिकारी नवनीत सिंह चहल ने मामले को गंभीरता से लेते हुए रातोंरात इस पुल की मरम्मत के लिए राज्य सेतु निगम को निर्देश दिया। जिसके बाद पुल की दरार को सुधारा जा सका। पुल के एप्रोच रोड और पुल के बीच ज्वाइंटर में काफी जगह बन गयी थी, जिससे वाहनों को रोकना पड़ा था। इस ब्रिज का शिलान्यास लगभग ढाई वर्ष पहले उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने किया था। पुल का निर्माण उप्र राज्य सेतु निगम ने कराया है। यूपी-एमपी का सीमाक्षेत्र का है रास्ता
इस पुल से उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश के लगभग 200 गांव का जुड़ाव है। इसके अलावा बारा, नारीबारी, खीरी, लेड़ियारी, कोरांव के कई गांवों के लिए यह पुल काफी राहत देने के लिए बनवाया गया है। हालांकि अब पुल में सुधार होने से लोगो को फिर से राहत मिलेगी।
इस बारे में डीएम नवनीत सिंह चहल ने कहा कि पुल के जल्द मरम्मत के लिए राज्य सेतु निगम को निर्देश दिया गया है। रातोंरात पुल की मरम्मत कराई गई। निर्माण में खामियां आने का क्या कारण है। इसकी जांच एमएनएनआइटी के विशेषज्ञों से कराई जा रही है।
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